बालाघाट में रेत समूह ठेका समर्पण को लेकर स्थिति स्पष्ट, आवेदन अब तक स्वीकार नहीं
बालाघाट। जिले में रेत समूह ठेका समर्पण को लेकर फैली चर्चाओं के बीच उप संचालक खनिज ने स्थिति स्पष्ट करते हुए कहा है कि संबंधित आवेदन अब तक स्वीकार नहीं किया गया है।
उप संचालक खनिज सुश्री फरहत जहां ने जानकारी दी कि एम.डी.ओ. (Mine Developer and Operator) द्वारा गठित एस.पी.वी. वैनगंगा माइनिंग वर्क्स प्रा.लि. द्वारा मध्यप्रदेश स्टेट माइनिंग कारपोरेशन लिमिटेड, भोपाल को दिनांक 12 दिसंबर 2025 को जिला बालाघाट रेत समूह के ठेका समर्पण हेतु आवेदन प्रस्तुत किया गया है, लेकिन वर्तमान तिथि तक यह आवेदन निगम द्वारा स्वीकार नहीं किया गया है।
नियमों के तहत ही होता है ठेका समर्पण
उप संचालक खनिज ने बताया कि मध्यप्रदेश रेत (खनन, परिवहन, भण्डारण एवं व्यापार) नियम 2019 के नियम 16 में 26 मई 2023 को किए गए
संशोधन के अनुसार—
किसी भी रेत समूह का समर्पण तीन माह पूर्व सूचना देकर किया जा सकता है।
राज्य शासन या निगम को देय समस्त बकाया राशि का भुगतान अनिवार्य है।
बकाया चुकता होने के बाद राज्य शासन के अनुमोदन से ही ठेका समर्पण स्वीकार किया जाता है।
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि एक बार समर्पण का आवेदन प्रस्तुत हो जाने के बाद वह अपृथकरणीय (Irrevocable) होता है तथा निर्धारित समयावधि में राज्य शासन द्वारा उस पर निर्णय लिया जाता है।
आवेदन प्राप्त होते ही निगम द्वारा पुनः निविदा प्रक्रिया प्रारंभ की जाती है।
6 माह पूर्व आवेदन पर विचार नहीं
नियमों के अनुसार यदि ठेका समाप्ति की तिथि से छह माह पूर्व समर्पण आवेदन प्रस्तुत किया जाता है, तो उस पर विचार नहीं किए जाने का भी प्रावधान है।
भंडारण रेत हटाना अनिवार्य
इसके अतिरिक्त उप संचालक खनिज ने बताया कि म.प्र. रेत नियम 2019 के नियम 18(11) में किए गए संशोधन के तहत—
अनुज्ञा समाप्त या निरस्त होने पर
अनुज्ञप्तिधारी को एक माह के भीतर भण्डारण स्थल से उपलब्ध रेत हटाना अनिवार्य है।
निर्धारित समय में रेत न हटाने की स्थिति में रेत को राजसात (जब्त) किए जाने का प्रावधान है।
उन्होंने कहा कि जिला प्रशासन द्वारा आगे की कार्यवाही नियमों के अनुसार की जाएगी।
स्पष्ट है कि फिलहाल बालाघाट रेत समूह का ठेका समर्पण स्वीकार नहीं हुआ है और आगे की प्रक्रिया राज्य शासन एवं निगम के निर्णय पर निर्भर है।
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