बालाघाट।
माननीय सर्वोच्च न्यायालय एवं शासन द्वारा जारी दिशा-निर्देशों के पालन में स्कूली बच्चों के सुरक्षित परिवहन को लेकर पुलिस प्रशासन ने सख्त निर्देश जारी किए हैं। पुलिस अधीक्षक श्री आदित्य मिश्रा द्वारा जिले की समस्त शासकीय एवं अशासकीय शिक्षण संस्थाओं को सुरक्षा मानकों का कड़ाई से पालन सुनिश्चित कराने के निर्देश दिए गए हैं।
जारी आदेश में कहा गया है कि स्कूली बच्चों की सुरक्षा सर्वोच्च प्राथमिकता है। सर्वोच्च न्यायालय, नई दिल्ली के निर्देशानुसार पुलिस मुख्यालय द्वारा स्कूल बसों एवं अन्य परिवहन साधनों के लिए आवश्यक सुरक्षा नियम निर्धारित किए गए हैं, जिनका पालन अनिवार्य होगा।
निर्देशों के प्रमुख बिंदु इस प्रकार हैं—👇
अनुबंधित बसों पर “ऑन स्कूल ड्यूटी” लिखा होना अनिवार्य होगा ।
बसों में फर्स्ट एड बॉक्स, स्पीड गवर्नर, अग्निशमन यंत्र, खिड़कियों पर जाली एवं स्कूल का नाम व दूरभाष क्रमांक अंकित होना चाहिए।
बस के दरवाजों का लॉक सिस्टम दुरुस्त होना आवश्यक होगा।
बस में चालक के साथ महिला सहायक एवं प्रशिक्षित परिचालक की उपलब्धता अनिवार्य की गई है।
बस चालक के पास कम से कम 5 वर्ष पुराना भारी यात्री वाहन चलाने का वैध लाइसेंस होना चाहिए।
क्षमता से अधिक बच्चों को वाहन में बैठाने पर पूर्णतः प्रतिबंध रहेगा।
वाहनों में जीपीएस सिस्टम एवं सीसीटीवी कैमरे चालू अवस्था में होना आवश्यक होगा।
वाहन का कर, बीमा, फिटनेस, परमिट एवं चालक का ड्राइविंग लाइसेंस वैध होना अनिवार्य रहेगा।
दो पहिया वाहनों को लेकर भी निर्देश—
18 वर्ष से कम आयु के छात्र-छात्राओं को दो पहिया वाहन से स्कूल आने की अनुमति नहीं होगी।
बालिग विद्यार्थियों एवं स्टाफ द्वारा दो पहिया वाहन उपयोग करने पर हेलमेट व वैध ड्राइविंग लाइसेंस अनिवार्य होगा।
पुलिस अधीक्षक ने जिले के सभी शासकीय एवं अशासकीय शिक्षण संस्थानों को निर्देशित किया है कि वे इन नियमों का सख्ती से पालन कराएं, जिससे स्कूली बच्चों का सुरक्षित परिवहन सुनिश्चित किया जा सके ।
प्रताप गेडाम - जिला क्राइम रिपोर्टर बालाघाट
अभयवाणी न्यूज
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